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बुधवार, 13 अक्तूबर, 2004 को 09:13 GMT तक के समाचार

दोस्तम ने भी विरोध बंद किया

अफ़ग़ानिस्तान के राष्ट्रपति चुनाव में हामिद करज़ई को चुनौती देने वाले एक प्रमुख उम्मीदवार अब्दुल रशीद दोस्तम ने मतदान प्रक्रिया का विरोध नहीं करने का फ़ैसला किया है.

प्रभावशाली क़बायली सरदार दोस्तम का कहना है कि वे संयुक्त राष्ट्र की जाँच के पक्ष में हैं इसलिए मतदान प्रक्रिया का बहिष्कार करने की अपनी घोषणा वापस ले रहे हैं.

हामिद करज़ई को चुनौती देने वाले 18 उम्मीदवारों में से 15 ने मतदान में गड़बड़ी के आरोप लगाते हुए उसका बहिष्कार करने की घोषणा कर दी थी.

अफ़ग़ानिस्तान के इतिहास में पहली बार हुए आम चुनाव बोगस मतदान और मतदाता सूची में गड़बड़ी के आरोपों में घिर गए हैं और अब संयुक्त राष्ट्र को चुनाव की जाँच करने को कहा गया है.

विवाद की शुरूआत ऊँगली पर निशान लगाने वाली स्याही से शुरू हुई, कई लोगों ने शिकायत की कि स्याही का निशान पक्का नहीं है इसलिए लोग दोबारा-तिबारा वोट डाल रहे हैं.

दोस्तम से पहले करज़ई को कड़ी चुनौती देने वाले यूनिस क़ानूनी के विरोध समाप्त कर देने के बाद से लगने लगा था कि मामला दुरूस्त हो जाएगा.

गिनती

अब अफ़ग़ान अधिकारियों को उम्मीद है कि संयुक्त राष्ट्र शुरूआती जाँच के बाद बुधवार से वोटों की गिनती शुरू करा देगा.

दोस्तम के प्रवक्ता ने कहा कि वे शनिवार की मतदान प्रक्रिया से अब भी नाख़ुश हैं और इस बारे में अपनी शिकायत ज़रूर दर्ज कराएँगे.

अफ़ग़ानिस्तान में मौजूद विदेशी कूटनीतिकों और अफ़ग़ानिस्तान के कई नेताओं ने यूनिस क़ानूनी, दोस्तम और विरोध कर रहे दूसरे उम्मीदवारों को मनाने की कोशिश की थी.

बीबीसी संवाददाता का कहना है कि इन उम्मीदवारों के मन बदलने के पीछे अफ़ग़ानिस्तान की जनता का ग़ुस्सा भी हो सकता है जो मतदान के बाद बेसब्री से परिणाम का इंतज़ार कर रही है.

तय कार्यक्रम के अनुसार चुनाव के पूरे परिणाम मंगलवार तक आने थे लेकिन विवाद की वजह से अभी वोटों की गिनती शुरू नहीं हो पाई है.