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बजट सत्र के पहले दिन ही हंगामा | ||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||||
भारत में संसद के बजट सत्र के पहले ही दिन हंगामे के बीच लोकसभा की कार्यवाही को मंगलवार तक के लिए स्थगित कर दिया गया है. लोकसभा में विपक्ष ने आपराधिक छवि वाले मंत्रियों और चार राज्यपालों को हाल में बर्खास्त किए जाने के मुद्दों पर नारे लगाए और अपनी माँग दोहराई कि आपराधिक छवि वाले मंत्रियों को इस्तीफ़ा देना चाहिए. बीबीसी संवाददाता के अनुसार राज्यसभा में भी हंगामा हुआ और राज्यसभा की कार्रवाई भी मंगलवार तक के लिए स्थिगत कर दी गई. समाचार एजेंसियों के अनुसार प्रश्नकाल के दौरान ये मुद्दे पहले भारतीय जनता पार्टी के नेता विजय कुमार मल्होत्रा ने उठाए. लोकसभा अध्यक्ष सोमनाथ चटर्जी ने विपक्ष के नेताओं से आग्रह किया कि उन्हें इन मुद्दों को उठाने का मौका दिया जाएगा लेकिन विपक्ष के नेता नारे लगाते रहे. ये देखते हुए अध्यक्ष सोमनाथ चटर्जी ने कार्यवाही को पहले दोपहर बारह बजे तक के लिए और फिर मंगलवार तक के लिए स्थगित कर दिया. जब लोकसभा में हंगामा हुआ तो वहाँ काँग्रेस नेता सोनिया गाँधी और विपक्ष के नेता लालकृष्ण आडवाणी मौजूद थे. आपराधिक छवि वाले मंत्रियों के मुद्दे पर 14वीं लोकसभा के उदघाटन सत्र में भी विपक्ष ने कामकाज नहीं चलने दिया था. प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह कह चुके हैं कि वे विपक्ष के अधिकारों का सम्मान करते हैं मगर साथ ही उन्होंने अपील की थी कि संसद को सुचारु ढंग से चलने दिया जाए. रविवार को लोकसभा अध्यक्ष सोमनाथ चटर्जी की पहल पर एक सर्वदलीय बैठक भी आयोजित की गई थी. उधर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन की सोमवार को एक बैठक हुई जिसमें निर्णय लिया गया कि गठबंधन बजट सत्र में इन मुद्दों पर सरकार का विरोध जारी रखेगा. इस बैठक में राजग संयोजक जॉर्ज फ़र्नांडिस और भाजपा नेताओं के साथ, जनता दल (युनाइटेड), शिवसेना, तृणमूल काँग्रेस, अकाली दल, तेलुगुदेशम और अन्नाद्रमुक के प्रतिनिधियों ने भाग लिया. इस बैठक के बाद भाजपा नेता विजय कुमार मल्होत्रा ने कहा कि रेल बजट के बारे में रणनीति तय करने के लिए मंगलवार को बैठक होगी. |
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